अध्याय VI – पी.आई.ओ. के कर्तव्य और जिम्मेदारियाँ
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अध्याय VI – पी.आई.ओ. के कर्तव्य और जिम्मेदारियाँ
- राष्ट्रीय महिला आयोग की ओर से आवेदन प्राप्त करना तथा ऐसे अनुरोधों पर तारीख सहित पावती देना।
- आरटीआई अधिनियम के अंतर्गत अनुरोधों को संख्या निर्दिष्ट करना तथा उसे संख्या सहित रजिस्टर में दर्ज करना।
- आवेदनों की जांच करना तथा संबंधित अनुभाग का पता लगाना, जिसके पास अनुरोध भेजा जाना है।
- आवेदन पत्र को 48 घंटे के भीतर संबंधित विभाग को अग्रेषित करना।
- अपीलीय प्राधिकारियों की ओर से अपील प्राप्त करना तथा उन्हें अपीलीय प्राधिकारी को अग्रेषित करना।
- संबंधित प्रकोष्ठ/अनुभाग/विभाग से उत्तर/सूचना प्राप्त करना।
- अनुरोध के साथ जानकारी संकलित करना।
- आवेदक को सूचना प्रदान करते समय उसे प्रमाणित करना।
- प्रत्येक मामले में अपेक्षित शुल्क की वसूली सुनिश्चित करना।
- आवेदकों तक सूचना की आपूर्ति सुनिश्चित करना।
- आवेदकों द्वारा मांगी गई जानकारी की जांच करना।
- यह जांच करना कि क्या अधिनियम की धारा 8 या 9 या 24 के अंतर्गत कोई छूट लागू है।
- यदि किसी छूट के अंतर्गत कवर किया गया हो तो ठोस कारणों के साथ अस्वीकृति/इनकार आदेश जारी करें।
- यह जांचना कि क्या यह जीवन या स्वतंत्रता या किसी तात्कालिकता से संबंधित है।
- यह जांच करना कि क्या कोई अतिरिक्त शुल्क आवश्यक है तथा शुल्क वसूलने के लिए निर्देश जारी करना।
- निर्णय की समीक्षा के अधिकार और औचित्य के साथ आगे की फीस जमा करने की सूचना जारी करना।
- आवेदक को पूर्ण उत्तर प्रदान करने के लिए अन्य विभागों में तैनात तथा सूचना से परिचित अन्य अधिकारियों की सेवाएं लेना।
- निर्धारित समयावधि के भीतर अनुरोधों का निपटान सुनिश्चित करना।
- यह पता लगाना कि क्या कोई तीसरा पक्ष इसमें शामिल है, यदि हां तो तीसरे पक्ष को नोटिस जारी करना तथा तीसरे पक्ष से प्रतिनिधित्व प्राप्त करना (यदि आवश्यक हो)।
- सुनवाई का अवसर देना तथा तीसरे पक्ष को मौखिक या लिखित रूप से अभ्यावेदन देना।
- उसे निर्धारित अवधि के भीतर अपीलीय प्राधिकारी के समक्ष अपील करने के उसके अधिकार के बारे में सूचित करना।
- साप्ताहिक विवरण तैयार करना तथा सदस्य सचिव, राष्ट्रीय महिला आयोग को स्थिति से अवगत कराना
- सभी आरटीआई रिकॉर्ड, आरटीआई की प्राप्तियां, निपटान का रखरखाव करना तथा वार्षिक विवरण प्रस्तुत करना